मौत की दर्द

योगी कभी मौत से नही डरता, जैसे पका फल स्वयं ही गिरता है ऐसे ही उसकी मौत होती है. मौत की दर्द कम और अहसास ज़्यादा होता है,हमारा चीज़ो से लगाव,दुनियाँ से,रिश्तेदारों से सबसे ज़्यादा अपना अस्तित्व खो देने का अहसास बहुत दुखदायी होता है. हम मान,उपाधियों से फूल जाता है और अपमान मे मुरझा जाता है,यही मन ही दुखों का घर है.ईक मन साधे सब सध जाता है I

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